दूर्वा का पौधा हमेशा तांबे के बर्तन में मिट्टी के अंदर लगाना चाहिए। वहीं रोजाना इसमें जल अर्पित करना चाहिए। ऐसा करने से काफी फायदा मिलता है। वहीं गणेश जी भी नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? प्रसन्न होते हैं।
पाइपलाइन के लिए कितनी सब्सिडी मिलती है? | लाभ, पात्रता, दस्तावेज व आवेदन प्रक्रिया
|| पाइपलाइन के लिए कितनी सब्सिडी मिलती है?, How much subsidy is given on pipeline?, pipeline par kitni subsidy milti hai, पाइपलाइन पर सब्सिडी के लिए आवेदन को आवश्यक दस्तावेज क्या हैं?, पाइपलाइन योजना के क्या पात्रता निर्धारित की गई है? ||
जल स्रोत लगातार कम हो रहे हैं। यह तो आप जानते ही हैं कि हमारे देश के कई राज्य गिरते भूजल स्तर की समस्या से जूझ रहे है। ऐसे में किसानों (Farmers) को सिंचाई की समस्या का सामना करना पड़ता है। इस समस्या के निराकरण के लिए केंद्र एवं राज्य सरकारों द्वारा अपने-अपने स्तर पर कई योजनाएं संचालित की जा रही हैं। किसानों को सिंचाई यंत्रों की खरीद पर सब्सिडी (Irrigation Machine Subsidy) प्रदान की जाती है।
ऐसी ही एक योजना राजस्थान सरकार द्वारा चलाई जा रही है, जिसमें किसानों को सिंचाई के लिए पाइप लाइन (irrigation pipeline) खरीदने पर सब्सिडी मुहैया कराई जा रही है? पाइपलाइन की खरीद पर सब्सिडी की यह दर कितनी है? इसके लिए सरकार द्वारा क्या पात्रता निर्धारित की गई है? इससे किसानों को क्या लाभ हैं, जैसे आपके मन में उठने वाले अनेक प्रश्नों के उत्तर हम आपको देंगे। उम्मीद है कि आपको यह पोस्ट पसंद आएगी-
भारत में मुक्त व्यापार क्षेत्र व इसके फायदे व नुकसान क्या है | Free Trade Zone Advantages disadvantages in India in hindi
Free Trade Zone advantages and disadvantages in India in hindi भारत में कई जगहों में मुक्त व्यापार क्षेत्र हैं, नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? इसका मूल उद्देश्य व्यापार आधारित संरचनाओं का निर्माण, उत्पाद का आयत और निर्यात, और व्यपार के लिए ‘फ्री करेंसी’ के इस्तेमाल को बढ़ावा देना था. इसके बारे में पूरी जानकरी यहाँ प्रस्तुत की गई है.
मुक्त व्यापार क्षेत्र क्या है? (What is Free Trade Zone)
कोई भी व्यापार अब वैश्विक स्तर का हो चला है. मुक्त व्यापार क्षेत्र को एक्सपोर्ट प्रोसेसिंग जोन या नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? फोरेन ट्रेड जोन भी कहा जाता है. मुक्त व्यापार क्षेत्र वो जगह है जहाँ पर कोई भी उत्पाद को उतारा, संभाला, निर्माण और उत्पाद को पुनः नये रूप में बनाया जा सकता है. इस जोन में इस दौरान किसी भी कस्टम अधिकारी का कोई हस्तक्षेप नहीं होता है. एक बार उत्पाद अपने देश के उपभोक्ताओं तक पहुँचने लगे, उसके बाद इस पर कस्टम ड्यूटी लगनी शुरू होती है. मुक्त व्यापार क्षेत्र मुख्यतः बड़े बंदरगाहों, अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डों या उन जगहों पर होता है जहाँ आयत निर्यात की सुविधा आसानी से मयस्सर हो सके.
भारत में मुक्त व्यापार क्षेत्र क्या है? (What is Free Trade Zone in India in hindi)
भारत सरकार नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? द्वारा ‘फॉरेन ट्रेड पालिसी’ के अंतर्गत सन 2004- 2009 की अवधि में मुक्त व्यापार क्षेत्र स्थापित करने की घोषणा की गयी. इसका उद्देश्य व्यापार के निर्माण को बढ़ावा देना था. 23 जून सन 2005 में भारत के संसद में स्पेशल इकनोमिक जोन एक्ट सरकार द्वारा पारित की गयी. इसके अलगे साल सन 2006 के फरवरी के महीने में भारत सरकार ने ‘स्पेशल इकनोमिक जोन’ के लिए कानूनों की घोषणा की. मुक्त व्यापार क्षेत्र इसी अधिनियम के अंतर्गत एक वर्ग के रूप में निहित है. इसके अंतर्गत व्यापार की सभी सुविधाएँ अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मुहैया की जाती है. उत्पाद के लिए अनुकूल संग्रहशाला, वातावरण के अनुकूल उपकरण, रेल स्लाइडिंग, कार्यालयों के लिए व्यापारिक जगह, स्वतंत्र रूप से इन्तेमाल होने वाले व्यपारिक स्टेशन, बैंक इन्सुरांस आदि की सुविधा इस अधिनियम नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? के तहत दी जाती है.
Bank FD : क्या पुरानी एफडी तोड़कर फिर से डिपॉजिट कराने पर मिलेगा ज्यादा ब्याज? जानिए नफा-नुकसान का पूरा गणित
- News18 हिंदी
- Last Updated : December 15, 2022, 17:46 IST
हाइलाइट्स
एफडी भारत में पसंदीदा निवेश विकल्पों में से एक है.
एफडी की ब्याज दरें इस साल बढ़ चुकी हैं.
रेपो रेट में वृद्धि होने से एफडी की ब्याज दरें बढ़ी हैं.
नई दिल्ली. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने साल 2022 में रेपो रेट (Rapo Rate) में भारी बढ़ोतरी की है. रिजर्व बैंक के ब्याज दरों में वृद्धि का असर यह हुआ है कि पर्सनल लोन, कार लोन और होम लोन महंगे हो गए हैं. रेपो रेट में बढ़ोतरी का फायदा उन लोगों को हुआ है, जो बैंकों में फिक्स्ड डिपॉजिट (Bank FD) कराते हैं. बैंकों ने रेपो रेट बढ़ने के बाद एफडी की ब्याज दरों में भी इजाफा किया है. केंद्रीय बैंक ने पिछले 7 महीनों में ब्याज दरों में 2.25% तक की बढ़ोतरी की है. हालांकि, बैंकों ने रेपो रेट के अनुपात में तो एफडी का ब्याज (FD Rate Hike) नहीं बढ़ाया है. लेकिन, फिर भी ब्याज नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? में ठीक ठाक वृद्धि की है. इस साल मई महीने में SBI जहां 1 साल की एफडी पर 5.10-5.20% तक ब्याज देता, नियम आधारित व्यापार के क्या लाभ हैं? अब ये बढ़कर 6% तक पर पहुंच चुका है.
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