रिटेल डिजिटल का इस्तेमाल कैसे होगा
रिटेल डिजिटल रुपया उसी मूल्यवर्ग में जारी किया जाएगा जिसमें वर्तमान में कागजी मुद्रा और सिक्के जारी किए जाते हैं. उपयोगकर्ता पायलट कार्यक्रम में शामिल बैंकों द्वारा पेश किए गए और मोबाइल फोन या उपकरणों पर स्टोर डिजिटल वॉलेट के माध्यम से रिटेल डिजिटल रुपये के साथ लेनदेन कर सकेंगे. लेनदेन पर्सन टू पर्सन (P2P) और पर्सन टू मर्चेंट (P2M) दोनों तरह से हो सकते हैं. व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर क्यूआर कोड का उपयोग करके व्यापारियों को भुगतान किया जा सकता है.
डिजिटल मुद्रा ऋण
विवरण
ब्यौरा
उत्पाद का नाम
डिजिटल शिशु मुद्रा लोन (एसटीपी)
उद्देश्य
कार्यशील पूंजी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए पात्र शिशु मुद्रा ग्राहकों को आवश्यकता आधारित सावधि ऋण
मात्रा (अधिकतम)
मार्जिन
प्राथमिक प्रतिभूति
बैंक वित्त से निर्मित/खरीदे गए स्टॉक, बुक ऋण एवं वर्तमान एवं भविष्य की अन्य परिसंपत्तियों का दृष्टिबंधक
संपार्श्विक प्रतिभूति
गारंटी
ब्याज दर
वर्तमान में ईबीएलआर +1.25% यथालागू दंडात्मक ब्याज।
पुनर्भुगतान अवधि
समान मासिक किस्तों में अधिकतम 36 महीने की अवधि के भीतर चुकाया जाना है। अधिस्थगन शून्य है। प्लैटफार्म के माध्यम से ऋण आवेदन करने के समय आवेदक को न्यूनतम 12 महीने और अधिकतम 36 महीने के लिए पुनर्भुगतान अवधि के चयन करने की अनुमति है।
प्रोसेसिंग प्रभार
दस्तावेजीकरण प्रभार एवं सुविधा शुल्क
₹ 950 + जीएसटी और वास्तविक स्टांप शुल्क (संवितरण के समय स्वतः संग्रहण)
पात्रता मापदंड
विनिर्माण वाले सूक्ष्म उद्यम, व्यापार और सेवा क्षेत्र में लगे सभी व्यक्ति
आवेदक किसी भी बैंक/वित्तीय संस्थान में चूककर्ता नहीं होना चाहिए
दस्तावेजीकरण
ग्राहक एनईएसएल प्लेटफॉर्म पर आधार क्रमांक पर आधारित ओटीपी प्रणाली के माध्यम से दस्तावेजों को डिजिटल रूप से निष्पादित कर सकेंगे।
ऋण का नवीनीकरण
नवीनीकरण मौजूदा दिशानिर्देशों के अनुसार सालाना किया जाना है।
अन्य विशेषताएं
ग्राहकों के अनुकूल, बैंक की वेबसाइट, नेट बैंकिंग और मोबाइल ऐप के माध्यम से ऑनबोर्डिंग।
कोई भौतिक दस्तावेज जमा नहीं करना।
शाखा जाने की आवश्यकता नहीं।
कम टीएटी (5-7 मिनट के भीतर मंजूरी)
व्यवसाय इकाई को सत्यापित करने के लिए जियोटैगिंग टूल का उपयोग।
पूरी तरह से स्वचालित और डिजिटल प्रक्रिया , मिनटों में ऋण दस्तावेजीकरण और सूक्ष्म उद्यमियों को ऋणों का संवितरण।
खाते का एनपीए के रूप
में वर्गीकरण
डिजिटल शिशु मुद्रा लोन (एसटीपी) के तहत मंजूर गए ऋणों के लिए आय की पहचान, आस्ति वर्गीकरण और प्रावधान पर मौजूदा विवेकपूर्ण मानदंड लागू होंगे:
सामान्य एमएसएमई अग्रिम पर लागू ब्याज समान रूप से प्रभारित किया जाना है।
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शर्तें लागू
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RBI Digital Rupee: डिजिटल रुपया कौन मैनेज करेगा और कैसे होगा इस्तेमाल, यहां जानिए सभी सवालों के जवाब
RBI Digital Currency Price : रिटेल डिजिटल रुपया मुख्य रूप से रिटेल लेनदेन के लिए नकदी का एक इलेक्ट्रॉनिक संस्करण है.
Digital Rupee All Details : भारतीय रिजर्व बैंक डिजिटल रुपया जारी करेगा और रिडीम करेगा. जबकि, वितरण और भुगतान सेवाएं बैंकों को सौंपी जाएंगी.
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कैसा दिखेगा रिटेल डिजिटल रुपया
भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा 7 अक्टूबर 2022 को जारी नोट के अनुसार केंद्रीय बैंक ने रिटेल डिजिटल रुपये के लिए एक टोकन आधारित टियर आर्किटेक्चर मॉडल का प्रस्ताव दिया है. टोकन आधारित CBDC बैंकनोट्स के समान है, जिसका अर्थ है कि जो कोई भी इसे रखता है उसे इसका स्वामी माना जाता है. टोकन आधारित CBDC में टोकन प्राप्त करने वाला व्यक्ति यह वेरीफाई करेगा कि टोकन का उसका स्वामित्व वास्तविक है.
ई-रुपये को कौन जारी और मैनेज करेगा
भारतीय रिजर्व बैंक के कॉन्सेप्ट नोट के मुताबिक रिटेल डिजिटल रुपये को टू-टियर मॉडल के जरिए बांटने का प्रस्ताव है. भारतीय रिजर्व बैंक e₹-R जारी करेगा और रिडीम करेगा. जबकि, वितरण और भुगतान सेवाएं बैंकों को सौंपी जाएंगी. यह मॉडल वर्तमान भौतिक मुद्रा प्रबंधन प्रणाली के समान है, जिसमें बैंक जनता डिजिटल मुद्रा ऋण को नोटों के वितरण, खाता-रखरखाव, संबंधित आवश्यकताओं के पालन जैसी गतिविधियों का प्रबंधन करते हैं.
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पायलट कार्यक्रम में यह बैंक और शहर शामिल
देशभर के चार शहरों में डिजिटल रुपये के रिटेल पायलट में चरणबद्ध भागीदारी के लिए आठ बैंकों को चुना गया है. पहले चरण में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, आईसीआईसीआई बैंक, यस बैंक और आईडीएफसी फर्स्ट बैंक सहित चार बैंक पायलट लॉन्च में हिस्सा ले रहे हैं. चार अन्य बैंक यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ बड़ौदा, एचडीएफसी बैंक और कोटक महिंद्रा बैंक बाद में इस पायलट में शामिल होंगे.
पायलट कार्यक्रम शुरू में चार शहरों मुंबई, नई दिल्ली, बेंगलुरु और भुवनेश्वर को कवर करेगा. बाद में इसका विस्तार अहमदाबाद, गंगटोक, गुवाहाटी, हैदराबाद, इंदौर, कोच्चि, लखनऊ, पटना और शिमला तक होगा.
डिजिटल रुपये का उपयोग कौन करेगा
आरबीआई के अनुसार रिटेल डिजिटल रुयपा का पायलट कार्यक्रम बंद उपयोगकर्ता समूहों (CUG) में चुनिंदा स्थानों को कवर करेगा, जिसमें ग्राहक और व्यापारी शामिल होंगे. रिटेल डिजिटल रुपया संभावित रूप से सभी निजी क्षेत्र, गैर-वित्तीय उपभोक्ताओं और व्यवसायों के उपयोग के लिए उपलब्ध है.
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रिटेल डिजिटल का इस्तेमाल कैसे होगा
रिटेल डिजिटल रुपया उसी मूल्यवर्ग में जारी किया जाएगा जिसमें वर्तमान में कागजी मुद्रा और सिक्के जारी किए जाते हैं. उपयोगकर्ता पायलट कार्यक्रम में शामिल बैंकों द्वारा पेश किए गए और मोबाइल फोन या उपकरणों पर स्टोर डिजिटल वॉलेट के माध्यम से रिटेल डिजिटल रुपये के साथ लेनदेन कर सकेंगे. लेनदेन पर्सन टू पर्सन (P2P) और पर्सन टू मर्चेंट (P2M) दोनों तरह से हो सकते हैं. व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर क्यूआर कोड का उपयोग करके व्यापारियों को भुगतान किया जा सकता है.
सुरक्षित और आसान भुगतान हो सकेगा
रेगटेक कंपनी बीसीटी डिजिटल के सीईओ जया वैद्यनाथन ने कहा कि आरबीआई सीबीडीसी का लक्ष्य सभी के लिए सस्ता, सुरक्षित और आसान भुगतान के वादे को पूरा करना है. रिटेल डिजिटल रुपया बाजार में क्रिप्टोकरेंसी के लिए एक विनियमित विकल्प प्रदान करता है. इसलिए सीबीडीसी अधिक मजबूत और विश्वसनीय भुगतान की ओर अग्रसर है ताकि नकदी पर निर्भरता कम हो सके. अंडरपिनिंग तकनीक लेनदेन की लागत को कम कर देगी. अन्य भुगतान प्रणालियों के साथ इंटरऑपरेबल होने के कारण यह यूपीआई जैसी मौजूदा तकनीकों का पूरक होगा. इस प्रकार मोबाइल भुगतान पारिस्थितिकी तंत्र को पूरा करेगा.
Digital Currency: यूपीआई से अलग होगा डिजिटल रुपया, इस तरह कर सकते हैं लेन-देन
मुंबई, बिजनेस डेस्क। RBI गवर्नर शक्तिकांत दास ने गुरुवार को कहा कि डिजिटल रुपया यूपीआई से भिन्न होगा। क्योंकि यूपीआई से होने वाला भुगतान बैंक के माध्यम से होता है जबकि डिजिटल करेंसी या रुपए का भुगतान एक वैलेट से दूसरे वैलेट में होता है और इसमें किसी तीसरे की कोई भूमिका नहीं होती है। गत एक दिसंबर से आरबीआई की तरफ से डिजिटल रुपए के खुदरा इस्तेमाल का पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया है।
शक्तिकांत दास ने बुधवार डिजिटल मुद्रा ऋण को कहा कि केंद्रीय बैंक की Digital Currency से किसी को कोई खतरा नहीं है। लोगों को इससे डरने की कोई जरूरत नहीं है। दास ने पोस्ट-पॉलिसी प्रेस मीट में संवाददाताओं से कहा कि होलसेल सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) पर पायलट प्रोजेक्ट बहुत संतोषजनक रहा है। उन्होंने कहा कि RBI खुदरा Digital Rupee के लिए चल रहे पायलट से सीख लेने और उन्हें लागू करने का इच्छुक है।
डिजिटल करेंसी को लेकर प्रवर्तन निदेशालय जैसी एजेंसियों द्वारा संभावित छापे पर एक प्रश्न का उत्तर देते हुए शक्तिकांत दास ने कहा कि Digital Currency के पास कागजी मुद्रा वाली गुमनामी नहीं है। बैंकों के पास डिजिटल करेंसी खरीदने वाले हर व्यक्ति का रिकॉर्ड रहेगा और किसी को भी गोपनीयता की चिंताओं से डरना नहीं चाहिए।
यूपीआई से अलग होगा डिजिटल रुपया
आरबीआई की तरफ से यह भी स्पष्ट कर दिया गया है कि पेपर नोट के भुगतान के मामले में जो नियम लागू होते हैं, वहीं नियम डिजिटल रुपए के भुगतान में लागू होंगे। जैसे कि एक निश्चित सीमा के बाद डिजिटल रुपए के भुगतान पर भी पैन कार्ड देना होगा और पेपर नोट की तरह ही एक सीमा तक ही डिजिटल रुपए से भुगतान किया जा सकेगा। दास ने कहा कि डिजिटल रुपए की प्रमुख खासियत यही होगी कि इसकी जानकारी सार्वजनिक नहीं होगी। उन्होंने कहा कि पेपर नोट का जब आपस में लेनदेन करते हैं तो तीसरे व्यक्ति को यह पता नहीं चलता है कि किसे रुपए दिए गए हैं क्योंकि यह सूचना बैंक के पास भी नहीं है। ऐसे ही डिजिटल रुपए में होगा।
इस तरह काम करेगी डिजिटल करेंसी
आरबीआई गवर्नर ने कहा कि यूपीआई के माध्यम से लेन-देन में बैंक इंटरमीडिएरीज का काम करता है। उन्होंने कहा कि पेपर नोट के लिए ग्राहक बैंक जाता है, नोट बैंक से लेता है और अपने पर्स में रखकर चला जाता है। ठीक वैसे ही, डिजिटल करेंसी के लिए ग्राहक बैंक जाएगा, करेंसी लेगा और अपने मोबाइल फोन वैलेट में रखकर चला जाएगा और उससे भुगतान कर सकेगा।
यूपीआई भुगतान एक बैंक से दूसरे बैंक में है जबकि डिजिटल रुपए से होने वाला भुगतान नकद भुगतान की तरह है। डिजिटल रुपए का भुगतान दो वैलेट के बीच होगा, इसलिए इसका पता तीसरे को नहीं चलेगा। फिलहाल देश के चार शहरों में खुदरा भुगतान के लिए डिजिटल रुपए का सीमित चलन शुरू किया गया है। चार बैंकों को डिजिटल रुपया देने के लिए अधिकृत किया गया है।
गुमनाम नहीं होगी डिजिटल करेंसी
मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए शक्तिकांत दास ने कहा कि जब आप किसी अन्य व्यक्ति को करेंसी नोटों में भुगतान करते हैं तो सोर्स या पेमेंट के मकसद का पता नहीं लग पाता क्योंकि जानकारी बैंक के पास उपलब्ध नहीं होती। जबकि सीबीडीसी एक मोबाइल से किसी और के मोबाइल पर ट्रांसफर होती है। सारी चीजें रिकॉर्डेड होती हैं। लेकिन सिर्फ इसीलिए हमें यह भय या मनोविकार का शिकार नहीं होना चाहिए।
डिजिटल मुद्रा के नियम भी पेपर करेंसी की तरह
आरबीआई गवर्नर ने कहा है कि आयकर विभाग के पास नकद भुगतान के लिए कुछ सीमाएं हैं। एक निश्चित सीमा से अधिक निकासी के लिए आपको अपना पैन कार्ड नंबर देना होता है। सीबीडीसी के मामले में भी यही नियम लागू होंगे, क्योंकि दोनों मुद्राएं हैं।
गोपनीयता की चिंताएं
बुधवार को रिजर्व बैंक के डिप्टी गवर्नर टी रबी शंकर ने गोपनीयता पर चिंताओं को स्वीकार किया। उन्होंने कहा कि आरबीआई सीबीडीसी को कागजी मुद्रा का विकल्प बनाने को लेकर काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि डिजिटल नकदी अभी भी विकास की प्रक्रिया में है और इसके नियम कायदे तय किए जाने की जरूरत है। आपको बता दें कि आरबीआई के पूर्व गवर्नर डी सुब्बाराव सहित कई विशेषज्ञों ने सीबीडीसी के गोपनीयता वाले पहलू पर चिंता व्यक्त की है।
Digital Currency: 100 से अधिक देशों में मौजूद है डिजिटल करेंसी, भारत में आज से होगी शुरुआत
भारत ने अपनी डिजिटल करेंसी के पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत 1 नवंबर 2022 को कर दी है। फिलहाल अभी यह सरकारी प्रतिभूतियों के लेन-देन में इस्तेमाल की जा रही है लेकिन जल्द ही डिजिटल मुद्रा ऋण रिटेल यूजर्स के लिए इसकी शुरुआत होने की उम्मीद है।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। अब जेब में कैश लेकर चलने की जरूरत रहेगी और न ही किसी थर्ड पार्टी ऐप द्वारा ऑनलाइन पेमेंट की कोई मजबूरी होगी। आज भारत का रिटेल डिजिटल रुपया (Digital Rupee) लॉन्च होने जा रहा है। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) इसे पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लॉन्च करने की घोषणा कर चुका है। आपको बता दें कि इससे पहले भारतीय रिजर्व बैंक ने एक नवंबर से देश में प्रायोगिक तौर पर केंद्रीय बैंक डिजिटल करेंसी (सीबीडीसी) की शुरुआत की है।
भारत ही नहीं, विश्व के लगभग आधे देशों में इस समय सीबीडीसी पर काम हो रहा है। आइए समझें, क्या है यह करेंसी, कैसे काम करती है और कौन सा देश इस नवाचार में कितना आगे बढ़ा है.
BOB Digital Mudra Loan Online Apply: 50,000 से 10 लाख़ का Loan, मोबाइल से करें आवेदन
जैसा कि आप सभी जानते हैं कि प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत माइक्रो यूनिट डेवलपमेंट एंड फाइनेंस एजेंसी लोन स्कीम भारत की पहल कदमी कर रही है, जो व्यक्तियों को एम एस एम ई तथा एसएमई लोन प्रदान करती है। इसके माध्यम से तीन प्रकार की लोन योजनाएं आयोजित की गई है शिशु, किशोर तथा तरुण।
मुद्रा लोन योजना के तहत ₹1000000 तक की राशि प्रदान की जाती है। आपको मालूम होगा कि इस लोन के लिए आपको किसी प्रकार की सिक्योरिटी जमा कराने की जरूरत नहीं होती है इस लोन का भुगतान करने के लिए आपको 5 साल तक का समय दिया जाता है। इससे संबंधित और जानकारी हासिल करने के लिए लेख को पूरा पढ़ें।
बैंक ऑफ बड़ौदा डिजिटल मुद्रा लोन
देश के तीसरे सबसे बड़े बैंक (बैंक ऑफ बड़ौदा) ने अभी हाल ही में डिजिटल लर्निंग प्लेटफॉर्म लांच किया। इस प्लेटफार्म से संभावित रिटेल लोन प्राप्त करने वाले को उसकी जगह और समय के अनुसार बिना किसी कागजी कार्यवाही के उसे डिजिटल प्रक्रिया के माध्यम से ऋण प्राप्त करने के लिए बेहतर अवसर सुविधा प्रदान करता है। डिजिटल मुद्रा लोन स्कीम के माध्यम से आप 50000 से लेकर 1000000 रुपए तक का लोन प्राप्त कर सकते हैं।
BOB डिजिटल मुद्रा लोन के लाभ
बैंक ऑफ बड़ौदा डिजिटल मुद्रा लोन के विभिन्न लाभों की चर्चा निम्नलिखित है-
आवेदन की प्रक्रिया का आसान होना- जब कोई व्यक्ति अपना व्यवसाय स्थापित करना चाहता है तो उसको उसे स्थापित करने बढ़ाने के लिए कई प्रकार की योजनाओं की आवश्यकता पड़ती है जब आप इस तरीके की परेशानियों में उलझे हुए होते हैं तो आपके पास इतना समय नहीं होता है कि आप ऋण प्राप्त कर सकें। बैंक ऑफ बड़ौदा ने जो डिजिटल प्लेटफार्म लॉन्च किया है वे आपकी इस तरह की समस्याओं का समाधान बहुत ही कम समय में कर सकता है। अगर आपने अभी तक आवेदन नहीं किया है तो जल्दी करें।
कागजी कार्रवाई का ना होना – आप इस बात से भली-भांति परिचित होंगे कि जब हम कोई ऋण प्राप्त करते हैं तो हमें किस प्रकार के दस्तावेजों की आवश्यकता पड़ती है और सिक्योरिटी भी हमें जमाने करानी होती परंतु यह प्लेटफार्म आपको इन तमाम तरह की की दिक्कतों से छुटकारा दिलाता है।
समय की बचत – जिस प्रकार बैंक ऑफ बड़ौदा ने डिजिटल प्लेटफॉर्म के माध्यम से आवेदक की जानकारी के संग्रह सत्यापन को संचालित करने में सक्षम बनाया है। इसके परिणाम स्वरूप डिजिटल मुद्रा ऋण के लिए टर्न अराउंड समय को कुशलतापूर्वक घटाकर 30 मिनट तक कर दिया। जिसका नतीजा यह है कि यह प्लेटफार्म आपकी आवश्यकताओं और को बहुत जल्दी तथा तेज़ प्रक्रिया के साथ पूरा करेगा।
बैंक ऑफ बड़ौदा डिजिटल मुद्रा लोन के लिए आवश्यक दस्तावेज –
अब हम यहां पर लोन से संबंधित दस्तावेजों की चर्चा करेंगे जो कि आपको लोन लेने के लिए अनिवार्य है-
- आवेदक का आधार कार्ड।
- आवेदक का पैन कार्ड।
- आवेदक की पासबुक।
- आवेदक का आधार कार्ड मोबाइल नंबर से लिंक होना चाहिए।
बड़ोदा बैंक मुद्रा लोन के लिए Eligibility Criteria –
अभी हमने आवश्यक दस्तावेजों के बारे में चर्चा की अतः इस बात की चर्चा करेंगे की लोन लेने के लिए किस प्रकार की नियम और शर्तें है-
- सर्वप्रथम वह भारत का मूल निवासी होना चाहिए।
- जो आवेदक यह लोन प्राप्त करना चाहता है उसका खाता बैंक ऑफ बड़ौदा में होना अनिवार्य है।
- आवेदक का आधार कार्ड मोबाइल नंबर से लिंक होना भी अनिवार्य है।
- अगर किसी आवेदक का बैंक ऑफ बड़ौदा में खाता नहीं है तथा वे इस लोन को प्राप्त करना चाहता है तो उसके लिए उसे सबसे पहले बैंक ऑफ बड़ौदा में जाकर खाता खुलवाना होगा।
BOB मुद्रा लोन के लिए कैसे आवेदन करें
आवेदक इस बात से परिचित होंगे कि इसकी प्रक्रिया ऑनलाइन है अगर आप ऑनलाइन प्रक्रिया में खुद को असमर्थ महसूस कर रहा है तो परेशान ना हो ना आपके साथ कुछ ऐसे स्टेप्स साझा करेंगे जिसकी मदद से आप आसानी पूर्वक आवेदन कर पाएंगे चलिए आइए देखते है –
- आपको इसकी ऑफिशल वेबसाइट पर विजिट करना होगा।
- उसके बाद आपके सामने इसका होमपेज खोलेगा जहां पर आप को e-mudra लोन का ऑप्शन दिखाई देगा आपको उसके ऊपर क्लिक कर देना।
- आपके क्लिक करने के बाद आपके सामने एक नया पोस्ट खुलकर सामने आएगा इसमें आपको बैंक द्वारा कुछ निर्देश दिए जाएंगे आपको उन्हें ध्यान पूर्वक पढ़ना है तथा नीचे लिखे क्लिक आप्शन पर क्लिक कर देना।
- इसके बाद आपको अपना वह मोबाइल नंबर दर्ज करना है जो आप के आधार कार्ड से लिंक है।
- उसके बाद आपको लोन की ब्रांच ई भरनी होगी जितना आप प्राप्त करना चाहते हैं।
- आपको सबमिट बटन पर क्लिक कर देना है क्लिक करने के बाद आपके सामने एक नया पेज खुल कर आएगा।
- आपको अपने दस्तावेजों से संबंधित जानकारी दर्ज करनी होगी। जानकारी दर्ज हो जाने के बाद आपके सामने एक वेलकम पेज खुलेगा।
उस पेज का आपको प्रिंट आउट निकाल कर उसे सेव कर रख लेना बैंक ऑफ बड़ौदा के द्वारा आपके अकाउंट में जल्द ही वह लोन आपको कुछ ही समय में प्रदान करा दिया जाएगा।
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